सूक्ष्म जैविकी बनाम आधुनिक जैव प्रौद्योगिकी पर राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन आज से
हरिद्वार। गुरुकुल कांगड़ी विवि के जीव विज्ञान संकाय के जंतु एवं पर्यावरण विभाग में 27- 29 मार्च तक सूक्ष्म जैविकी बनाम आधुनिक जैव प्रौद्योगिकी पर एक राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया जाएगा। यह संगोष्ठी वेदों में वर्णित माइक्रोबायोलॉजी, पर्यावरणीय सूक्ष्म जैविकी एवं आधुनिक बायोटेक्नोलॉजी तथा पर्यावरण के ज्वलंत मुद्दों पर आधारित होगी। संगोष्ठी के अध्यक्ष प्रो. आरसी दुबे ने कहा कि वेदों में वर्णित जीवाणु, विषाणु एवं उनसे जनित बीमारियों के रोकथाम जैसी वैदिक सिद्धांत को आज के परिप्रेक्ष् में कैसे आधुनिक जैव प्रोद्योगीकी के माध्यम से क्रांतिकारी बदलाव लाये जा सकते हैं, इस पर गहन मंथन होगा। उन्होंने कहा कि कोविड कालोपरांत इसका महत्व और अधिक बढ़ गया है। कोविड काल में सम्पूर्ण विश्व ने भारत में वैदिक ज्ञान विज्ञान का उपयोग करके अपने आप को कोविड के भयंकर प्रकोप से सुरक्षित रखा। संगोष्ठी निदेशक प्रो. देवेन्द्र मालिक ने कहा कि इस संगोष्ठी में जीबी पन्त कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय मेरठ, कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय, दिल्ली विश्वविद्यालय एवं जेएनयू आदि अनेक विश्वविद्यालयों एवं प्रतिष्ठित जैव संस्थानों के वरिष्ठ वैज्ञानिक, शिक्षाविद, पर्यावरणविद एवं सामाजिक कार्यकर्ता भाग ले रहे हैं। उन्होंने कहा कि इसमें 50 से अधिक विशेषज्ञ व विद्वान प्रतिभागियों से मंथन करेंगे।