बीन नदी पर प्रस्तावित पुल को बीएचक्यू से मिली हरी झंडी
ऋषिकेश
बीन नदी पर प्रस्तावित डबल लेन पुल को बीएचक्यू की विशेषज्ञ टीम ने भी हरी झंडी दे दी है। अब शासन की ओर से इसकी मंजूरी मिलने का इंजतार है। बीन नदी पर 200 मीटर पुल का निर्माण होना है। इससे करीब छह दर्जन से अधिक गांव के लोगों की आवाजाही सुगम होगी। बैराज-चीला मार्ग न सिर्फ ऋषिकेश और हरिद्वार के बीच का वैकल्पिक मार्ग है, बल्कि इस मार्ग पर यमकेश्वर प्रखंड के डांडामंडल के करीब 50 से अधिक गांवों की हजारों की आबादी जुड़ी है। बीन नदी यहां भूमिगत चीला शक्ति नहर के ऊपर से बहती है और बरसात में विकराल रूप धारण करती है। आसपास के ग्रामीण जान जोखिम में डालकर नदी को पार करने को मजबूर हैं। बीन नदी पर पुल बनाने की मांग कई सालों से की जा रही है। बीन नदी के काम में राजाजी टाइगर रिजर्व पार्क के नियम कायदे भी रोड़ा बन रहा था। अब वन मंत्रालय में भूमि हस्तांतरण की अनुमति दी है। लोनिवि लक्ष्मणझूला ने 20 करोड़ की डीपीआर तैयार कर शासन को भेज दी है। वहीं बीएचक्यू के विशेषज्ञों ने भी पुल के डिजाइन को पास कर दिया है। लिहाजा अब एक बार फिर से शासन की ओर से मंजूरी मिलने की आस लोगों में जगी है।